रतलाम 14 अगस्त। जुलाई माह में लक्ष्य से तीन गुना अधिक नमूना लेकर प्रदेश में अव्वल आने वाले रतलाम के खाद्य विभाग के कनिष्ठ खाद्य अधिकारी प्रेम कुमार अहिरवार को लोकायुक्त ने रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार किया है। खाद्य अधिकारी ने निलम्बित राशन दुकान की फिर से बहाली के लिए 15 हजार रिश्वत मांग रहा था। उज्जैन लोकायुक्त पुलिस की एक टीम ने भ्रष्ट अधिकारी को उसके जावरा स्थित शासकीय आवास में चार हजार रुपए की रिश्वत लेते रंगे हाथों धर दबोचा।
लोकायुक्त पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार, ग्राम अरनिया गुजर पिपलौदा निवासी देवी सिंह गुर्जर ने उज्जैन लोकायुक्त एसपी अनिल विश्वकर्मा को शिकायत की थी कि भोलेनाथ स्वयं सहायता समूह को आवंटित शासकीय उचित मूल्य की दुकान किसी कारणवश निलम्बित कर दी गई थी।
इस दुकान पर शिकायतकर्ता देवीसिंह की पत्नी पार्वती देवी समूह की सचिव एवं विक्रेता के रुप में कार्यरत थी। पार्वती देवी ने जावरा के कनिष्ठ खाद्य आपूर्ति अधिकारी प्रेमकुमार अहिरवार से जब निलम्बित दुकान को फिर से बहाल करने का निवेदन किया तो उसने दुकान बहाली के लिए 15 हजार रुपए की रिश्वत की बात कही।एसपी लोकायुक्त विश्वकर्मा ने डीएसपी राजेश पाठक के नेतृत्व में शिकायतकर्ता देवीसिंह की शिकायत का सत्यापन करवाया। शिकायत सही पाई जाने पर लोकायुक्त पुलिस ने आठ सदस्यीय विशेष दल गठित कर भ्रष्ट अधिकारी को ट्रैप करने की योजना बनाई।
योजना के तहत शिकायतकर्ता देवीसिंह रिश्वत की रकम की पहली किश्त 4 हजार रुपए लेकर प्रेम कुमार अहिरवार के जावरा स्थित शासकीय आवास पर पहुंचा जहां उसने रिश्वत की रकम अहिरवार को सौंपी। पूर्वनिर्धारित इशारा पाते ही लोकायुक्त पुलिस के दल ने भ्रष्ट खाद्य अधिकारी प्रेम कुमार अहिरवार को रंगे हाथों धर दबोचा।
दल में यह थे साथ
ट्रैप की कार्रवाई में डीएसपी राजेश पाठक, निरीक्षक दीपक सेजवार, प्रधान आरक्षक हितेश, आरक्षक उमेश जाटव, आरक्षक मोहम्मद इसरार, आरक्षक श्याम शर्मा शामिल थे। भ्रष्ट खाद्य अधिकारी प्रेम कुमार अहिरवार भ्र्ष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत गिरफ्तार किया गया है।
लोकायुक्त की कार्रवाई : लक्ष्य से तीन गुना अधिक नमूना लेकर प्रदेश में अव्वल आने वाले खाद्य विभाग के कनिष्ठ खाद्य अधिकारी अहिरवार रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार।
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